निरक्षरों का चिन्हांकन एवं सर्वे कार्य पूरी गंभीरता से करें- पांसी
रतलाम- (Ratlam) राज्य शिक्षा केंद्र के निर्देशानुसार साक्षर भारत एवं साक्षर मध्य प्रदेश के स्वप्न को साकार करने के लिए उल्लास नवभारत साक्षरता कार्यक्रम के अंतर्गत एस असाक्षरों का डोर टू डोर संपर्क करके उनके चिन्हांकन एवं सर्वे का कार्य पूरी गंभीरता से करें।
उक्त विचार नवभारत साक्षरता कार्यक्रम के अंतर्गत विकास खंड स्तर पर स्थानीय कन्या शिक्षा परिसर भवन में आयोजित प्रथम चरण के प्रशिक्षण में खंड स्त्रोत समन्वयक नरेंद्र कुमार पासी ने व्यक्त किये।
कार्यक्रम में मुख्य अतिथि जयेंद्र सिंह हाडा ने कहा की सभी नोडल अधिकारी अक्षर साथियों का पैनल बनाकर सामाजिक चेतना केंद्रो के संचालन पर पूरी तरह से ध्यान दें तथा मूल्यांकन परीक्षा में अधिक से अधिक निरक्षरों को सम्मिलित करने का प्रयास करें। विकासखंड साक्षरता समन्वयक डॉ. रविन्द्र उपाध्याय ने सैलाना विकासखंड में संचालित नवभारत साक्षरता कार्यक्रम की गतिविधियों की जानकारी देते हुए विकासखंड स्तर पर आयोजित संकुल स्तरीय प्रशिक्षण की आवश्यकता एवं महत्व पर प्रकाश डालते हुए नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति के अंतर्गत उल्लास नवभारत साक्षरता कार्यक्रम को शिक्षा के एक अभिन्न अंग के रूप में सम्मिलित करने तथा सबके लिए शिक्षा के प्रावधान पर विस्तार से जानकारी दी।
बीएसी स्मिता शुक्ला एवं बीएसी भारती चौहान के द्वारा भी टी.एल.एम सामग्री के उपयोग के बारे में जानकारी दी गई । संकुल सह समन्वयक राजेश पाटीदार, मथुरा लाल पाटीदार, बालकृष्ण प्रजापति राजेश अवस्थी, देवेंद्र वाघेला, अनोखी लाल राठौर आदि के द्वारा प्रशिक्षण प्रदान करने में सक्रिय सहभागिता की गई तथा अक्षर पोथी के विभिन्न पाठो का प्रदर्शन कर उनके बारे में चर्चा की गई। पीपीटी का प्रदर्शन कर समस्त बिंदुओं को समझाया गया। जन शिक्षक एवं संकुल सह समन्वयक राजेश अवस्थी ज्ञान का दिया जला तू अपनी राह जान ले तथा ले मशाले चल पड़े हैं। लोग मेरे गांव के, गीतो के माध्यम से प्रशिक्षणार्थियों में उत्साह तथा जोश का संचार करने में सफल रहे।
इसके पूर्व आमंत्रित अतिथि गणों के द्वारा मां सरस्वती के चित्र पर माल्यार्पण एवं दीप प्रज्ज्वलन के साथ कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया। सरस्वती वंदना जन शिक्षक सुनीता नरवरिया के द्वारा प्रस्तुत की गई। अतिथियों का स्वागत शंकर लाल मालवीय, मथुरा लाल पाटीदार, अनोखी लाल राठौर, चेतना त्रिवेदी, राजेश पाटीदार, बालकृष्ण प्रजापति आदि के द्वारा किया गया। कार्यक्रम का संचालन देवेंद्र वाघेला के द्वारा किया गया तथा आभार श्रीमती स्मिता शुक्ला के द्वारा व्यक्त किया गया।